खबर प्रहरी, चम्पावत,। जिला मुख्यालय से करीब 40 किलोमीटर दूरी पर स्थित ग्राम बकोड़ा गांव में शुक्रवार को एक बीमार बुजुर्ग महिला की जान बचाने को ग्रामीण करीब छह घंटे तक15 किलोमीटर त् पैदल भागे। यह दर्द भारत-नेपाल सीमा पर बसे इस दुर्गम गांव तक सड़क न पहुंचने के कारण अक्सर देखने को मिलता है। यहां कई पूर्व मुख्यमंत्रियों की घोषणा के बाद भी गांव वालों को सड़क का इंतजार है।
गुरुवार रात बकोड़ा गांव निवासी 65 वर्षीय मधी देवी को तेज बुखार और सिरदर्द की शिकायत थी। शुक्रवार को हालत बिगड़ने पर स्थानीय ग्रामीण तान सिंह, नरेंद्र, शेखर, मनीष, दीपक, जोगा, गिरीश सिंह, कुंदन सिंह ने डोली बनाकर सुबह छह बजे मधी को चम्पावत के लिए रवाना हुए। रास्ते में बारिश से बचाने के लिए डोली को प्लास्टिक की पन्नी को लपेटा। इसके बाद ग्रामीण 15 किमी का पैदल सफर तय कर मंच स्थित सड़क तक पहुंचे। इस बीच भारी बारिश में काफी दिक्कतें भी हुईं। पर सिस्टम की लाचारी को हराकर ग्रामीणों ने महिला को जिला अस्पताल पहुंचाकर बचा लिया।